Friday, 7 March 2014

सन्तरा

सन्तरा :- 
सन्तरा 

स्वास्थ्य के लिए संतरे  का अपना एक विशेष स्थान है । जो लोग हर रोज इसका प्रयोग करते हैं उन्हें अनेक रोगों से प्राकृतिक रूप से ही छुटकारा मिल जाता है ।
संतरे की तासीर ठंडी है । दिल को यह काफी शक्ति देता है ।

गैस रोग   :- संतरे का निरंतर सेवन करने से गैस रोग से मुक्ति मिलती है । साथ में स्वास्थ्य भी ठीक रहता  है । नया खून बनता है ।

पुरानी कब्ज  :- जो लोग पुरानी कब्ज से  परेशान हैं उन्हें सुबह उठकर संतरे के जूस का एक गिलास पीना चाहिए । ऐसा करने से उनकी कब्ज भी दूर हो जायेगी और उन्हें भूख भी खूब  लगेगी ।
शारीरिक कमजोरी :- जो लोग शारीरिक रूप से कमजोर हैं उन्हें नियमित रूप से संतरे का प्रयोग करना चाहिए ।
स्नायु रोग :- जो लोग शारीरिक रूप से कमजोर हैं और स्नायु रोग से ग्रसित उन्हें नियमित संतरे रूप से संतरे का प्रयोग करना चाहिए ।

कील मुँहासे :- जिन लोगो के मुँह पर कील मुँहासे अधिक हैं उन्हें कील मुँहासे पर संतरे के छिलको का रस मलना चाहिए |

मलेरिया बुखार :- मलेरिया बुखार के रोगियों के लिए संतरे के छिलके दो  कप पानी में उबालकर उसे कपडे से छानकर चीनी मिलाकर पी लें ।
यह कार्य दिन में तीन बार करने से दो -तीन दिन में मलेरिया बुखार उतर जायेगा ।

गुर्दे का दर्द :- गुर्दे के दर्द से परेशान लोगो को  नियमित रूप से संतरे का प्रयोग करना चाहिए ।

दांतो के रोग :- पायोरिया  जैसे  रोग में भी संतरा बहुत लाभकारी है । दांतो के रोगों से बचने के लिए संतरे के छिलकों को धुप में सुखाकर कूट कर मंजन बना लें । इसका प्रयोग मंजन के रूप में करे इससे दांतो के सभी रोग दूर हो जायेंगे | 

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